जनसंवाद कार्यक्रम!
खटिया पर बैठकर पुलिस अधीक्षक ग्रामीणों से हुए रूबरू!
डरें नहीं साझा करें पुलिस के साथ अपनी बात - अगम जैन
पिटोल ! पुलिस व जनता के बीच किस तरह से समन्वय स्थापित किया जा सके जिससे पुलिस के प्रति जनता के मन मस्तिष्क में व्याप्त भ्रांतियों को दुर ही नहीं किया जा सके अपितु दोनो के बीच में जो एक दूरी बनी हुई है उसे पाटा जा सके।
ऐसा ही प्रयास इन दिनों जिले के युवा पुलिस अधीक्षक अगम जैन अंचलों में जाकर जन संवाद कार्यक्रम के माध्यम से ग्रामीणों से सीधे संवाद कर उनसे रुबरु होकर कर रहे है।
एसपी अगम जैन का ग्रामीणों से मिलने का यह अंदाज ग्रामीणों को भी खुब भा रहा है।
बुधवार को समीपस्थ बावडी पंचायत के तालाब फलिये में पहुंचे एसपी से मिलने महिला, युवा, बुजुर्ग व बच्चे पहुंचे।
गांव में खटीया पर बैठकर जैन ने सभी से उनके व गांव के हाल पुछे। बच्चों से स्कुल की गतिविधियों के बारे में तो बुजुर्गो से पुर्व के व वर्तमान की अपराधिक गतिविधियों पर चर्चा की।
ग्रामीणों ने बताया कि उनके गांव में अब कोई अपराध नहीं होते। छोटी मोटी कहासुनी व विवाद होते भी है तो वे तडवी व सरपंचों की बीच बैठकर आपस में सुलझा लेते है।
थाने चौकी जाने की ज्यादा जरुरत नहीं पडती। श्री जैन ने घर में पहुंचकर रहन सहन को देखा करीब से
पुलिस अधीक्षक ग्रामीणों से चर्चा के बाद पास ही रहने वाले एक किसान टीटु अबजी बबेरिया के घर पहुंचे जहां उन्होने उनके रहन सहन के साथ खानपान पर भी चर्चा की एवं बच्चों को पढने के लिये प्रेरित किया।
अपने गांव में युवा एसपी को अपने से खुलकर बातचीत करते हुए पाकर हर वर्ग के लोग अभिभुत थे। कम उम्र के पुलिस अधीक्षक को देखकर महिलाओं में आश्चर्य था जो उनकी इस बात से सामने आया कि उन्होने अपनी भीली भाषा में व्यक्त किया ’’ओह ऐतरो नानो एसपी’’ यानी इतनी कम उम्र के पुलिस अधीक्षक।
उल्लेखनीय है कि सामान्य रुप से आम तौर पर बडे अधिकारी की छवी ग्रामीणों के जेहन में कुछ ओर होती है। पुलिस अधीक्षक ने बच्चों को टाॅफी भी खिलाई जिसे वे अपने साथ लेकर आऐ थे।
इस दौरान वे ग्रामीणों के बीच करीब डेढ घंटे रहे। अपराध व अपराधियों की सूचना के लिये भी उन्होने कहा कि वे डरे नहीं पुलिस से साझा करे।
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