जन-जागरण के साथ जिले की आदिवासी संस्कृति को करीब से जानने गांवों में पहुंच रहे पुलिस अधीक्षक।
पिटोल । गत कई दिनों से जिले के पुलिस अधीक्षक अगम जैन सुबह-सुबह जिले के किसी भी गांव में पहुंच जाते है। इसकी सुचना ग्रामीणों के माध्यम से कस्बे में आती है कि, ‘‘आज हमारा तां एसपी साब आवेलो’’ यानी आज हमारे यहां एसपी साहब आऐ थे।
कारण पुछने पर बताया जाता है कि वे गांव के बच्चों से मिलते है। महिलाओं व वृद्धजनों से बात करते है। सुरक्षा के साथ स्वास्थ, शिक्षा ओर उनकी जीवन शैली को करीब से देखने के बाद उनके सामाजिक उत्थान के लिये उन्हें आवश्यक टिप्स भी देते है।
झाबुआ पुलिस अधीक्षक के ऐसे नवाचार से ग्रामीण अभिभूत ही नहीं है अपितु खुल कर अपनी समस्याऐं भी उन्हें बताने लगे है।
मवेशी चराने जाने वाले बच्चों को स्कुल के लिये दी प्रेरणा।
शनिवार को समिपस्थ खेडी ग्राम में अल सुबह पहुंचे एसपी जैन ने रास्ते में मिले मवेशी चराने जाने वाले बच्चों को स्कुल जाकर पढाई करने के लिये प्रेरित किया।
पहले तो बच्चे अपने बीच पुलिस को देखकर डरे डरे व सहमें सहमें से थे। किंतु उन्हें प्यार से चाकलेट देने के बहाने पास बुलाकर उनकी दिनचर्या व स्कुल नहीं जाकर मवेशी चराने जाने की मजबूरी को करीब से समझा।
उसके बाद उन्हें आश्वस्त किया की वे स्कुल जाऐं वे उनके माता पिता से भी बात करेंगे। यदि कोई समस्या आ रही है तो हल भी करवाऐगें।
सूत्र बताते है कि आर्थिक संपन्नता नहीं होने के बावजुद कैसे सेहतमंद जीवन जीया जा सकता है। इस पर उनका विशेष फोकस होता है।
प्रभात भ्रमण में यह रहती प्राथमिकता।
चुनाव की तैयारीयों के मद्देनजर गांवो के सभी पोलिंग बुथों तक पहुंचकर उन्हें करीब से देखना। गांव की भोगोलिक परिस्थिति को समझना। शोच के लिये सडकों के किनारे बैठने वाले लोगों को शोचालय या दूर जंगल में जाने के लिये प्रेरित करना।
अंधेरे में खेत खलिहान में जाते समय टाॅर्च का उपयोग करना जिससे कि सर्पदंश की घटना न हो।आदिवासीयों द्वारा प्रयुक्त किये जाने वाले कृषि उपकरणों को देखने के साथ ही उनके खान पान व खेती में होने वाले नुकसान के बारे में जानकारी प्राप्त करने के साथ ही अन्य कई चीजें जिससे उनके जीवन को बदला जा सके। चर्चाओं का विषय होती है।
लेखन में रुचि रखने वाले युवा पुलिस अधीक्षक श्री जैन के ऐसे नवाचार में, सुबह-सुबह किये जा रहे इस निजी जन जागरुकता अभियान को लेकर आदिवासी अंचल में चर्चाऐं है कि ऐसे अधिकारी होना चाहिये जो ग्रामीणों के बीच जाकर उनके सुख दुःख बांट सके।
खेडी ग्राम में पुलिस अधीक्षक के साथ पहुंची पिटोल चौकी प्रभारी पल्लवी भांवर ने बताया कि एसपी साहब हर दिन सुबह 7 बजे अपना बंगला छोड किसी भी गांव में ग्रामीणों के बीच पहुंचकर ग्रामीणों से रुबरु होते है। पिटोल चौकी अंतर्गत आने वाले तकरीबन दो दर्जन से अधिक गांवों का वे अब तक भ्रमण कर चुके है।
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